Updated January 11th, 2023 at 18:01 IST
PoK: गिलगित बलूचिस्तान में Pakistan के खिलाफ फूटा लोगों का गुस्सा, पाकिस्तानी सेना से बोले- 'ये तुम्हारे बाप की जमीन नहीं'
गिलगित-बलूचिस्तान में जमीन हड़पने, टैक्स बढ़ाने को लेकर पाकिस्तान सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन, पहली बार लोगों ने इतने बड़े स्तर पर सेना का विरोध किया है।
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पाकिस्तान प्रशासित कश्मीर (POK) के गिलगित-बलूचिस्तान में पाकिस्तानी सरकार और सेना के खिलाफ जमकर विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं। लोगों का आरोप है कि पाकिस्तानी सेना अवैध रूप से उनकी जमीन पर कब्जा कर रही है। न्यूज एजेंसी ANI की रिपोर्ट के मुताबिक पाकिस्तानी सेना सालों से स्थानीय लोगों की जमीन हड़प रही है। लेकिन पहली बार लोगों ने इतने बड़े स्तर पर सेना का विरोध किया है।
लोग अवैध टैक्स, बढ़ती महंगाई और कम होते रोजगार के विरोध में भी सरकार के खिलाफ विरोध-प्रदर्शन कर रहे हैं। पाकिस्तान के अधिकारियों द्वारा क्षेत्र में बिजली के दामों में अवैध रूप से बढ़ोतरी और बढ़ते टैक्स को लेकर पाकिस्तान के खिलाफ स्कार्दू शहर में लगातार तेरहवें दिन विरोध प्रदर्शन जारी रहा।
#LIVE | Protests erupt across Gilgit-Baltistan against Pakistan govt tax hike. Tune in to watch here - https://t.co/HbKDYgaNDs. pic.twitter.com/bNHCnyO1Ih
— Republic (@republic) January 10, 2023
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प्रदर्शनकारी विशेष रूप से स्कार्दू-कारगिल सड़क को खोलने के साथ-साथ राजनीतिक सशक्तिकरण और सब्सिडी की बहाली की मांग कर रहे हैं। पाकिस्तानी सेना का स्थानीय लोग विरोध कर रहे हैं। ट्विटर पर कई वीडियो आए हैं, जिसमें दिख रहा है कि लोग सेना के सामने चिल्ला रहे हैं और कह रहे हैं कि वह पाकिस्तानी रेंजर को उनकी जमीन पर कब्जा करने नहीं देंगे। सोशल मीडिया पर आए एक वीडियो में दिख रहा है कि कैंप लगाने के लिए जमीन कब्जा करने पहुंचे सेना के लोगों को ग्रामीणों ने खदेड़ दिया।
Ppl in #GilgitBaltistan these days protest against land grabbing by #PakistanArmy & the black laws implemented by #Pakistan. Isn’t it time to straightway stand up against #Pakistani occupation? 🇵🇰 can’t even fulfil our basic needs, so let’s liberate ourselves. No other option! pic.twitter.com/nrkygdxSVU
— Prof. Sajjad Raja (@NEP_JKGBL) December 29, 2022
गिलगित बलूचिस्तान के निवासी पाकिस्तानी सरकार द्वारा किए जा रहे अत्याचारों से तंग आ चुके हैं। सूत्रों के अनुसार, पाकिस्तान गिलगित-बलूचिस्तान की भूमि का उपयोग करता रहा है और पाकिस्तान के कब्जे वाले जम्मू-कश्मीर के लोगों ने इस क्षेत्र में अपनी एक कॉलोनी बनाई है।
मुख्य दो बातों को लेकर हो रहा विरोध प्रर्दशन
- गिलगित-बलूचिस्तान में 'खालसा सरकार टैक्स' लगाया गया है, जिसका मतलब है कि गिलगित-बलूचिस्तान की कोई भी बंजर भूमि सुरक्षा बलों के शिविर स्थापित करने के लिए स्वचालित रूप से गिलगित-बलूचिस्तान सरकार को दे दी जाएगी।
- पाकिस्तानी सरकार द्वारा लगाए गए कर। दैनिक उपयोग की 135 से अधिक वस्तुओं पर कर लगाया गया है।
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गिलगित-बलूचिस्तान के निवासियों ने कथित तौर पर आरोप लगाया है कि प्रशासन उन्हें 'खालसा सरकार' घोषित करके उनकी जमीन छीन रहा है। गिलगित-बलूचिस्तान के स्थानीय लोग खलासा सरकार कानून का विरोध कर रहे हैं, स्थानीय लोगों का मानना है कि कानून का इस्तेमाल उन्हें उनकी पैतृक संपत्तियों से वंचित करने के लिए किया जा रहा है।
स्थानीय लोगों ने पाकिस्तानी सरकार को चेतावनी भरे शब्दों में कहा है कि वे इस बार लाहौर या इस्लामाबाद की ओर नहीं बढ़ेंगे। वे लद्दाख और कारगिल की ओर आगे बढ़ेंगे। गौरतलब है कि गिलगित-बलूचिस्तान की अवामी एक्शन कमेटी, अंजुमन-ए-इमामिया, अहल-ए-सुन्नत वल जमात और अन्य संगठनों द्वारा विरोध का समर्थन किया गया था। विशेष रूप से स्कार्दू, गिलगित, हुंजा और घीजर में विरोध प्रदर्शन और रैलियां आयोजित की गईं और भीषण ठंड के बावजूद बड़ी संख्या में लोग इस विरोध प्रर्दशन में शामिल हुए।
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Published January 11th, 2023 at 17:59 IST
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