Updated November 8th, 2018 at 16:44 IST

एंटी मोदी फ्रंट बनाने में जुटा विपक्ष: महागठबंधन बनाने के लिए पूर्व PM देवगौड़ा कर रहे हैं मायावती से बातचीत

2019 लोकसभा चुनाव को देखते हुए एक बार फिर से विपक्ष के द्वारा 'महागठबंधन' बनाने की कोशिशें तेज हो गई हैं.

Reported by: Gaurav Kumar
| Image:self
Advertisement

2019 लोकसभा चुनाव को देखते हुए एक बार फिर से विपक्ष के द्वारा 'महागठबंधन' बनाने की कोशिशें तेज हो गई हैं. रिपब्लिक टीवी को मिली जानकारी के मुताबिक भारत के पूर्व प्रधानमंत्री एचडी देवगौड़ा ने बहुजन समाज पार्टी की अध्यक्ष मायावती से महागठबंधन में शामिल होने को लेकर बातचीत की है. विपक्ष एंटी मोदी फ्रंट बनाने में एक बार फिर से जुट गया है. 

सूत्रों के मुताबिक JDS सुप्रिमो लगातार मायावती के संपर्क में हैं. वहीं कर्नाटक के मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी भी उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव से संपर्क कर रहे हैं. वहीं शुक्रवार को चंद्रबाबू नायडू ने JDS नेता एचडी देवगौड़ा और कर्नाटक के मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी से मुलाकात की है. 

कांग्रेस और JDS को कर्नाटक उपचुनाव में मिली कामयाबी को देखते हुए दोनों ही पार्टियां 2019 लोकसभा चुनाव भी एक साथ लड़ने की कोशिश में है. सूत्रों के मुताबिक एंटी बीजेपी फ्रंट में लगभग पांच पार्टियां हैं. JDS और कांग्रेस के अलावा इस ग्रुप में TDP, JKNC और ममता बनर्जी की TMC शामिल है. 

हाल के दिनों में TDP नेता चंद्रबाबू नायडू ने कई बड़े नेताओं से मुलाकात की थी. जिसमें कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी भी शामिल थे. नायडू लगातार एंटी मोदी दलों को एकजुट करने की कोशिशों में जुटे हुए हैं. उन्होंने दिल्ली में NCP चीफ शरद पवार और नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता फारुख अब्दुल्ला और कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी से मिलने के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस भी की थी. 

गौरतलब है कि ममता बनर्जी भी एंटी मोदी दलों को एकजुट करने की बात कह चुकी हैं. हाल ही में ममता बनर्जी ने गुजरात के पाटीदार नेता हार्दिक पटेल को पश्चिम बंगाल में होने वाली अपनी रैली में शामिल होने का नयोता दिया है. सूत्रों के मुताबिक बीते महीने आम आदमी पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल भी चंद्रबाबू नायडू और कुमारस्वामी से मिले थे.

बता दें, महागठबंधन में मायावती का रोल काफी महत्वपूर्ण होगा. हाल के दिनों में उत्तर प्रदेश में हुए उप-चुनाव के दौरान मायावती की पार्टी ने समाजवादी पार्टी के साथ गठबंधन किया था. जिसमें दोनों ही पार्टियों के जातीय समीकरण ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी और इन्हें जीत भी हासिल हुई थी.

वहीं कर्नाटक में भी BSP और JDS ने एक साथ चुनाव लड़ा था जिसमें मायावती की पार्टी को एक सीट मिली थी. हाल ही में मायावती ने कांग्रेस पर तीखा हमला करते हुए राजस्थान और मध्यप्रदेश में होने वाले विधानसभा में एक साथ चुनाव नहीं लड़ने का ऐलान किया है. बसपा फिलहाल मध्यप्रदेश और राजस्थान में अकेले ही चुनाव लड़ रही है और छत्तीसगढ़ चुनाव के लिए मायावती की पार्टी ने अजीत जोगी की पार्टी के साथ गठबंधन किया है.

Advertisement

Published November 8th, 2018 at 16:44 IST

Whatsapp logo