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Updated December 1st, 2018 at 09:42 IST

कांग्रेसी नेता अहमद पटेल ने इमरजेंसी को बताया 'काला अध्याय'

कांग्रेसी नेता अहमद पटेल ने मीडिया से बात करते हुए इंदिरा गांधी के द्वारा लगाए गए इमरजेंसी को काला अध्याय बताया है.

Reported by: Gaurav Kumar
| Image:self
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राजस्थान चुनाव में अब बस कुछ ही दिन रह गए हैं. ऐसे में नेताओं द्वारा बयानबाजी का दौर काफी तेज हो रहा है. बता दें, कांग्रेसी नेता अहमद पटेल ने मीडिया से बात करते हुए पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के द्वारा साल 1975 में लगाए गए इमरजेंसी को काला अध्याय बताया है. अहमद पटेल ने इस दौरान नरेंद्र मोदी की सरकार पर भी हमला बोला. पटेल ने कहा कि 2014 के बाद से ही अघोषित इमरजेंसी लगी हुई है.

क्या बोले अहमद पटेल?

अहमद पटेल ने कहा, आजादी के बाद मुझे एक्सेप्ट करना चाहिए कि जो दो डार्क फेस जिसे कहते हैं एक तो इमरजेंसी और दूसरी 2014 के बाद अघोषित इमरजेंसी .. हमने तो मांफी मांग ली.. इंदिरा जी ने तो मांफी मांग ली ... और ये भी कमिटमेंट दिया की भविष्य में कभी भी ऐसी गलती नहीं की जाएगी. लेकिन ये जो अघोषित इमरजेंसी जो है उसका क्या किया जाए..?

बता दें, अहमद पटेल, सोनिया गांधी और राहुल गांधी के करीबी माने जाते हैं. पटेल फिलहाल गुजरात से राज्यसभा सांसद हैं. गौरतलब है कि राजस्थान में सात दिसंबर को विधानसभा चुनाव होने वाले हैं. कांग्रेस और बीजेपी के बीच राजस्थान में काफी कड़ा मुकाबला है. जहां एक तरफ बीजेपी ने फिर से वसुंघरा राजे पर अपना दांव खेला है वहीं कांग्रेस पार्टी राहुल गांधी, अशोक गहतोल और सचिन पायलट के नेतृत्व में चुनाव प्रचार कर रही है. इस चुनाव में कांग्रेस पार्टी ने मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार का ऐलान नहीं किया है.

अमित शाह का कांग्रेस पर वार -

हाल ही में बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने राजस्थान में चुनावी प्रचार करते हुए NPA के मुद्दे को लेकर कांग्रेस पर हमला बोला था. अमित शाह ने कहा था, ‘ये जो एनपीए अब हो रहे हैं वो आपके शासन में, आपके भ्रष्टाचार से दिए गए कर्ज के हो रहे हैं. हमारे लोन के नहीं हो रहे. एक भी एनपीए ऐसा नहीं है जो नरेंद्र मोदी सरकार में लोन दिया गया.’ उन्होंने कहा, ‘‘आपके कुकर्म का परिणाम हैं ये एनपीए.’’

कांग्रेस की तरफ से सचिन पायलट और अशोक गहलोत दोनों ही चुनावी मैदान में हैं. तमाम सर्वे बता रहे हैं कि इस बार राजस्थान में बीजेपी और कांग्रेस के बीच कड़ी टक्कर होने वाली है. राज्य में वसुंधरा राजे सरकार के खिलाफ एंटी इनकम्बेंसी भी देखी जा रही है. खैर इस बार राजस्थान की सत्ता में कौन वापसी करेगा इसका पता तो आने वाले 11 दिसंबर को ही चलेगा.

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Published December 1st, 2018 at 09:42 IST

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