Advertisement

Updated November 20th, 2018 at 11:29 IST

CBI निदेशक आलोक वर्मा की याचिका पर SC की सुनावई 29 नवंबर तक टली, कोर्ट ने जताई नाराजगी

सुप्रीम कोर्ट ने आलोक वर्मा के अधिकार छीनने और उन्हें अवकाश पर भेजने के सरकारी आदेश को चुनौती देने वाली उनकी याचिका पर सुनवाई 29 नवंबर तक के लिए टाल दी है.

Reported by: Ayush Sinha
| Image:self
Advertisement

सुप्रीम कोर्ट ने सीबीआई निदेशक आलोक वर्मा के अधिकार छीनने और उन्हें अवकाश पर भेजने के सरकारी आदेश को चुनौती देने वाली उनकी याचिका पर मंगलवार को सुनवाई 29 नवंबर तक के लिए टाल दी है. इस दौरान कोर्ट ने सुनवाई. सीबीआई निदेशक आलोक वर्मा द्वारा सोमवार को सीलबंद लिफाफे में दायर किया गया जवाब लीक होने पर नाराजगी जताई.

वरिष्ठ अधिवक्ता और आलोक वर्मा के वकील एफ. एस. नरीमन ने सीबीआई निदेशक का जवाब लीक होने पर आश्चर्य जताया है.

बता दें, सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को सीबीआई के निदेशक आलोक कुमार वर्मा से कहा था कि उनके खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोपों के बारे में सीवीसी की जांच रिपोर्ट पर जल्द से जल्द आज ही अपना जवाब दाखिल करें. कोर्ट ने ये साफ किया था कि इस मामले के लिए मंगलवार को निर्धारित सुनवाई नहीं टाली जाएगी. लेकिन सुनवाई 29 नवंबर तक के लिए स्थगित कर दी गई.

दरअसल कोर्ट ने शुक्रवार को कहा था कि केंद्रीय सतर्कता आयोग की विस्तृत प्रारंभिक रिपोर्ट के निष्कर्ष में कुछ ‘अनुकूल’ और कुछ ‘बहुत ही प्रतिकूल’ हैं जिनकी आयोग द्वारा आगे जांच की आवश्यकता है. जिसके बाद प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई, न्यायमूर्ति संजय किशन कौल और न्यायमूर्ति के एम जोसफ की पीठ ने इस गोपनीय रिपोर्ट के अवलोकन के बाद आदेश दिया था कि इसकी प्रति सीलबंद लिफाफे में आलोक वर्मा को दी जाए. पीठ ने आलोक वर्मा से इस पर सोमवार तक सीलबंद लिफाफे में ही जवाब मांगा था. जिसे लेकर कोर्ट ने  जवाब लीक होने पर नाराजगी जताई है.

न्यायालय ने सीबीआई प्रमुख आलोक वर्मा के सभी अधिकार वापस लेने और उन्हें अवकाश पर भेजने के सरकार के फैसले को चुनौती देने वाली वर्मा की याचिका पर सुनवाई के दौरान पिछले शुक्रवार को ये निर्देश दिया था.

बता दें, बीते दिनों सीबीआई में मचे घमासान से केंद्र सरकार की काफी आलोचना हुई थी. कांग्रेस ने इस पूरे मामले को राफेल डील की जांच से जोड़ा था. कांग्रेस ने कहा था कि सीबीआई निदेशक राफेल डील की जांच करने वाले थे इसलिए केंद्र सरकार के द्वारा उन्हें छुट्टी पर भेज दिया गया. वहीं केंद्र की तरफ से इन तमाम आरोपों का खंडन किया गया था. 

Advertisement

Published November 20th, 2018 at 11:18 IST

आपकी आवाज. अब डायरेक्ट.

अपने विचार हमें भेजें, हम उन्हें प्रकाशित करेंगे। यह खंड मॉडरेट किया गया है।

Advertisement

न्यूज़रूम से लेटेस्ट

Advertisement
Advertisement
Advertisement
Whatsapp logo