Updated September 23rd, 2021 at 00:06 IST
महंत नरेंद्र गिरि मौत मामला: 'सुसाइड नोट' और पुरानी शिकायत पर हस्ताक्षर में दिखा अंतर?
महंत नरेंद्र गिरि के कथित सुसाइड नोट और इस साल पुलिस स्टेशन में उनके द्वारा दर्ज कराई गई शिकायत पत्र पर किए गए हस्ताक्षर पर अंतर दिखाई दिखाई दे रहा है।
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अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद (ABAP) के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि की मौत मामले (Mahant Narendra Giri's Death Case) में रोज नए-नए खुलासे हो रहे हैं। इसी कड़ी में महंत नरेंद्र गिरि (Mahant Narendra Giri) के कथित सुसाइड नोट और इस साल पुलिस (UP Police) स्टेशन में उनके द्वारा दर्ज कराई गई शिकायत पत्र पर किए गए हस्ताक्षर पर अंतर दिखाई दे रहा है। यानी दोनों हस्ताक्षर एक जैसे नहीं लग रहे हैं।
इस बीच रिपब्लिक मीडिया नेटवर्क ने प्रयागराज पुलिस को महंत नरेंद्र गिरी द्वारा संबोधित एक पत्र को एक्सेस किया है। पत्र में नरेंद्र गिरि ने अपने नाम से फर्जी ट्विटर अकाउंट बनाने का आरोप लगाया था। हालांकि, पुलिस को संबोधित पत्र पर हस्ताक्षर और कथित आत्महत्या पत्र पर हस्ताक्षर अलग-अलग प्रतीत होते हैं।
सुसाइड नोट और शिकायत पत्र किया गया हस्ताक्षर हुआ मिसमैच
नरेंद्र गिरि की मौत के बाद उनका कथित सुसाइड नोट सामने आया था, जिस पर कथित रूप से महंत नरेंद्र गिरि ने हस्ताक्षर किए थे। ऐसा माना जा रहा है कि महंत नरेंद्र गिरि ने शिकायत पत्र खुद नहीं लिखा था, बल्कि उन्होंने केवल उस पर हस्ताक्षर किए होंगे।
वहीं कथित सुसाइड लेटर में लिखा है, 'मैं शान से जी रहा था, अपमान के साथ नहीं जी पाऊंगा, इसलिए अपनी आत्महत्या करने जा रहा हूं।' इसके साथ ही कथित सुसाइड नोट में कथित रूप से नरेंद्र गिरि ने बताया है कि वो कई वजहों से परेशान चल रहे थे, जिसकी वजह से उन्होंने आत्महत्या करने का फैसला किया है।
कथित सुसाइड नोट में नरेंद्र गिरी ने आनंद गिरि, आद्या तिवारी और उनके बेटे संदीप तिवारी के खिलाफ ब्लैकमेल और उत्पीड़न के आरोप लगाए हैं। इसके साथ कथित सुसाइड नोट में उन्होंने मठ के उत्तराधिकारी की भी घोषणा की है।
नरेंद्र गिरि की मौत
सोमवार की शाम महंत नरेंद्र गिरि प्रयागराज स्थित बाघंबरी मठ में फांसी के फंदे पर लटके पाए गए। दोपहर के भोजन के बाद, कथित तौर पर वो अपने कमरे में चले गए थे, हालांकि जब शाम को उनका कमरा नहीं खुला और उन्होंने फोन नहीं उठाया तो उनके शिष्यों ने दरवाजा खोला। इस दौरान फांसी लगाए हुए दिखाई दिखे।
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वहीं कथित सुसाइड नोट में खुलासे के बाद, यूपी के प्रयागराज पुलिस ने आनंद गिरि के खिलाफ आईपीसी की धारा 306 (आत्महत्या के लिए उकसाना) के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई थी। आपको बता दें कि इस मामले में आनंद गिरि को गिरफ्तार भी किया गया है।
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Published September 23rd, 2021 at 00:04 IST
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