Updated April 5th, 2020 at 09:03 IST
राजस्थान: डॉक्टर ने गर्भवती महिला की डिलीवरी करने से किया मना, नवजात की मौत
वहीं इस पूरे मामले पर कैबिनेट मंत्री विश्वेन्द्र सिंह ने कहा है कि 'अस्पताल की ये लापरवाही शर्मनाक है।
Advertisement
राजस्थान की कांग्रेस सरकार में स्वास्थ्य विभाग का क्या हाल है इसका नजारा उस समय देखने को मिला जब भरतपुर के जनाना अस्पताल में डिलीवरी कराने पहुंची महिला को डॉक्टरों ने अस्पताल के अंदर घुसने नहीं दिया।महिला के पति के मुताबिक उन्हें गेट से ही जयुपर के लिए रेफर कर दिया गया और कहा कि तुम मुस्लिम हो इसलिए जयुपर जाओ। वहीं जयुपर जाने के दौरान ही रास्ते में महिला की डिलीवरी हो गई और नवजात बच्चे की मौत हो गई।
वहीं इस पूरे मामले पर कैबिनेट मंत्री विश्वेन्द्र सिंह ने कहा है कि 'अस्पताल की ये लापरवाही शर्मनाक है। सरकार भी सवेंदनशील है इसलिए चिकित्सा राज्य मंत्री को इस मामले पर संज्ञान लेकर कार्रवाई करनी चाहिए।'
वहीं नगर थाना इलाके के गांव निवासी पीड़ित महिला के पति इरफ़ान खान का कहना है कि 'दर्द शुरू होने पर उसे सीकरी अस्पताल लेकर पहुंचा जहां से जनाना अस्पताल रेफर कर दिया गया मगर यहां चिकित्सकों ने कह दिया कि आप मुस्लिम हो इसलिए इलाज यहां नहीं होगा जयुपर में होगा और हमको जयपुर भेज दिया गया।' वहीं अब पीड़ित परिवार आरोपी के खिलाफ कार्रवाई की मांग कर रहा है।
अस्पताल की इस लापरवाही के बाद ना केवल जिला प्रशासन में हड़कंप मच गया है बल्कि राजस्थान की राजनीति में भी हड़कंप मचा हुआ है जहां इस मामले को लेकर जिला कलेक्टर नथमल डिडेल ने तुरंत कार्रवाई का आश्वासन दिया है। वही पर्यटन मंत्री विश्वेन्द्र सिंह ने इस घटना की निंदा करते हुए खुद चिकित्सा राज्य मंत्री डॉ सुभाष गर्ग जो भरतपुर शहर से विधायक है उनको आड़े हाथों लेते हुए कहा कि 'मंत्री जो यहां से विधायक भी हैं उनको कार्रवाई करनी चाहिए।'
जहां राज्य सरकार आमजन को फ्री मेडिकल सुविधाएं देने का वादा करती हैं वही राज्य में सरकारी अस्पतालों में ऐसा भेदभाव उसकी कार्यप्रणाली पर सवाल उठा रही है।
Advertisement
Published April 5th, 2020 at 09:03 IST
आपकी आवाज. अब डायरेक्ट.
अपने विचार हमें भेजें, हम उन्हें प्रकाशित करेंगे। यह खंड मॉडरेट किया गया है।